विकास गोतामेकी जीवनी || Biography of Bikash Gotame.
१९७१ में मंगपा के सरस्वती हाई स्कूल से मैट्रिक करने के बाद, विकास गोटेम ने शिक्षक प्रशिक्षण लिया और मयू में अपने शिक्षण करियर की शुरुआत की। बाद में उन्होंने बाहरी परीक्षार्थी के रूप में एम.ए. अध्ययन के अंत तक।
विकास गोतामे भारतीय मार्क्सवादी पार्टीका सक्रिय कार्यकर्ता थिए। उनका कविताहरूमा पनि शोषित-पीडितहरूको आवाजलाई उनले अभिव्यक्ति दिएका छन्। प्रगतिशील विचारका कवि गोतामेले जीवनभरि नै अन्याय, अत्याचारका विरुद्ध कविता लेखिरहे। उनले सन् १९६५ देखि नै कविता, नाटक आदिको रचना गर्न थालेका हुन्।
उनकी कविताएँ शोषितों को जागृत करने के लिए बुलाती हैं, पूंजीपतियों से लड़ने और उनके अधिकारों को प्राप्त करने की चेतना का संचार करती हैं। विकास गोटेम वह है जो पूंजीपति वर्ग और समाज के शोषित वर्ग के बीच स्पष्ट वर्ग भेद दिखा कर क्रांति का रास्ता दिखाता है और शोषितों को उनकी स्थिति और स्थिति से अवगत कराता है। वह एक क्रांतिकारी कवि हैं।

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